Team@News Dastak। पामगढ़ विकासखंड के ग्राम पंचायत रसोटा के शासकीय पूर्व माध्यमिक शाला में संदीपनी शिक्षा महाविद्यालय राहौद के विद्यार्थियों का NSS कैंप का आज पांचवा दिन था, इस कैंप में 110 बच्चे और 5 प्रोफेसर शामिल है। जहां दलित अधिकार अभियान और आत्मशक्ति ट्रस्ट के तत्वाधान में कुपोषण मुक्त भारत बनाने के लिए आंगनबाड़ी भारत की जीवन रेखा अभियान का शुरुआत किया गया। कार्यक्रम का शुरुआत बाबा साहब डॉ भीमराव अंबेडकर, महात्मा गांधी, भारत माता और छत्तीसगढ़ महतारी के तैल चित्र पर माल्यार्पण एवम दीप प्रज्ज्वलित कर एवम छत्तीसगढ़ राज्य गीत बजाकर औपचारिक शुरुवात किया गया। सभी को विभीषण पात्रे द्वारा भारतीय संविधान के प्रस्तावना का वाचन कराया गया। अतिथियों के स्वागत पश्चात ग्राम रसौटा के मितानिन सुमित्रा श्रीवास एवम सीमा धीवर द्वारा कुपोषण को कम करने के लिए किए जा रहे कार्यों के बारे में विस्तार से जानकारी दिया गया। संगीता रात्रे स्वस्थ पंचायत समन्वयक द्वारा बताया गया की कुपोषण को कम करने के लिए गर्भवतियों का टीकाकरण, परिवार भ्रमण बच्चो का टीकाकरण, संस्थागत प्रसव, स्तनपान, के बारे में विस्तार से जानकारी दिया गया।
महिला बालविकास विभाग के सुपरवाइजर मनीषा जांगड़े ने कुपोषण कम करने के लिए सरकार द्वारा चलाए जा रहे विभिन्न योजना के बारे में बताया की किशोरी बालिकाओं को कुपोषण से बचाव के लिए आयरन की गोली लेने का सलाह दिया। आंगनबाड़ी में बच्चो को अंडा भी दिया जाता है प्रतिदिन मेनू अनुसार पका भोजन दिया जाता है। शिशुवती माताओं को टी एच आर दिया जाता है जिसका सेवन करना चाहिए।
विभीषण पात्रे ने कहा की कुपोषण बहुत सारे समस्या जड़ है यदि कोई कुपोषण का शिकार होता है तो शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता कम हो जाती है, कमजोर शरीर में बीमारी जल्दी आती है जिसके इलाज में धन बर्बाद हो जाता है जिससे गरीबी बढ़ती है इस तरह चक्र चलते रहता है । इस चक्र को तोड़ना जरूरी है इस हेतु सरकारें भी बहुत सारी योजना चला रही है जैसे राशन दुकान, महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना आदि आदि । लेकिन लोगो में जानकारी के अभाव के कारण इन योजनाओं से वंचित रह जाते हैं। इतने सारे योजनाओं के बावजूद आज भी छत्तीसगढ़ में सरकार का आंकड़ा में 33% लोग कुपोषित है। आमना बेगम और रजनीकांत रत्नाकर ने युवाओं को संवेदनशील होकर कुपोषण को खत्म करने के दिशा में दलित अधिकार अभियान के साथ जुड़कर काम करने का आहवान किया। बच्चों में काफी उत्साह देखने को मिला बच्चों ने रंगोली से दलित अधिकार अभियान का बैनर सहित लड़की लड़का एक समान जैसे अनेक संदेशों को दर्शाने वाला चित्र बनाए थे जो बहुत ही अकर्षक था। कार्यक्रम का संचालन प्रोफेसर योगेश्वर चंद्राकर एन एस एस कार्यक्रम अधिकारी एवम आमना बेगम ने किया। एन एस एस सहायक कार्यक्रम अधिकारी प्रोफेसर रीना खरे का विशेष सहयोग रहा। कार्यक्रम में शांता यादव, राधा लहरे, लक्ष्मीन दास, बसंती यादव , सुनीता बर्मन, रामी रात्रे, चित्र सिंह, संतन दास, ललिता रत्नाकर, ऊषा किरण बर्मन, अनसुइया यादव सहित अन्य लोग भी सामिल थे। अंत में सभी ने आज के कार्यक्रम को यादगार बनाने सामूहिक रूप से शाला प्रांगण में आम का पौधा रोपण कर कार्यक्रम का समापन किया।